
एक्सीडेंट के केस में फंसाने की धमकी देकर 1500 की रिश्वत लेते रंगे हाथ पकडाए बैरागढ थाने के पुलिस आरक्षक आशीष वाजपेई को अदालत ने 3 साल के सश्रम कारावास- 40 हजार रूपये जुर्माने की सजा सुनाई है।
विशेष सत्र न्यायाधीश लोकायुक्त संजीव पाण्डेय ने यह फैसला सुनाया है। लोकायुक्त पुलिस के वकील विवेक गौड ने बताया कि बैरागढ थाने में पदस्थ रहे आरक्षक आशीष वाजपेई ने फरियादी सैहिल खान को एक्सीडेंट के केस में फंसाने की धमकी देकर 2 हजार रूपये की रिश्वत मांगी थी। उसे रिश्वत देने के लिए बार—बार धमकाया भी गया।
आखिरकार परेशान होकर खान ने लोकायुक्त को इसकी शिकायत की। शिकायत के सत्यापन के बाद लोकायुक्त पुलिस की टीम ने 21 सितंबर 2013 को वाजपेई को 1500 की रिश्वत लेते रंगे हाथ पकडा था। इसके बाद उसके खिलाफ अदालत में चालान पेश किया गया। अदालत ने इस मामले में बुधवार को फैसला सुनाया है;
कोर्ट परिसर में गुटखा थूकने पर जुर्माना
कोर्ट परिसर में दीवार पर गुटखा थूकते पकडाये 2 युवकों को टीटी नगर थाने केे कोर्ट मुंशी अजय रघुवंशी ने पकड लिया। जिला नाजिर अशोक सोनी ने दोनों को संपत्ति विरूपण अधिनियम के तहत सीजीएम अदालत में पेश किया।
सीजीएम विनोद कुमार पाटीदार ने कोर्ट मुंशी अजय रघुवंशी के बयान लेकर दोनों युवकों को 300-300 रूपए जुर्माने से दंडित किया। कोर्ट ने अन्य लोगों को भी अदालत में गंदगी फैलाने पर कार्रवाई की चेतावनी दी है। अदालत परिसर में गंदगी फैलाने पर रोक लगी हुई है। इसके बावजूद कुछ लोग इधर—उधर गुटखा—पान आदि थूककर गंदगी फैला रहे हैं।
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